Saturday, April 30, 2016

Bhagvat Geeta One setence per chapter



Chapter 1 :
Wrong thinking is the only problem in life

Chapter 2 :
Right knowledge is the ultimate solution to all our problems

Chapter 3 :
Selflessness is the only way to progress and prosperity

Chapter 4 :
Every act can be an act of prayer

Chapter 5 :
Renounce the ego of individuality and Rejoice in the Bliss of Infinity

Chapter 6 :
Connect to the Higher Consciousness Daily

Chapter 7 :
Live what you learn

Chapter 8 :
Never give up on yourself

Chapter 9 :
Value your blessings

Chapter 10 :
See divinity all around

Chapter 11 :
Have enough surrender to see the Truth as it is

Chapter 12 :
Absorb your mind in the Higher

Chapter 13 :
Detach from Maya and Attach to Divine

Chapter 14 :
Live a lifestyle that matches your vision

Chapter 15 :
Give priority to Divinity

Chapter 16 :
Being good is a reward in itself

Chapter 17 :
Choosing the right over the pleasant is a sign of power

Chapter 18 :
Let Go, Lets move to Union with God

Ved Vyasa.....author of Bhagvat Geeta

 

 

 

  In last

 

Awesome. Blessed children.... :

They are the children of Prof Christopher doing research on Bharatiya samskruti in Banaras university They both can chant all the 18 chapters of Bhagavadgita

 

17 points that always keep in your mind





 👉1) जो आपसे दिल से बात करता है उसे कभी दिमाग से जवाब मत देना।
👉2) एक साल मे 50 मित्र बनाना आम बात है 50 साल तक एक मित्र से मित्रता निभाना खास बात है। 👉3) एक वक्त था जब हम सोचते थे कि  हमारा भी वक्त आएगा और एक ये वक्त है कि हम सोचते है कि हम सोचते है कि वो भी क्या वक्त था।
  👉4) एक मिनट मे जिन्दगी नही बदलती पर एक मिनट सोच कर लिखा फैसला पूरी जिन्दगी बदल देता है।
 👉5) आप जीवन मे कितने भी ऊॅचे क्यो न उठ जाए पर अपनी गरीबी और कठिनाई को कभी मत भूलिए।
 👉6) वाणी मे भी अजीब शक्ति होती है  कङवा बोलने वाले का शहद भी नही बिकता और मीठा बोलने वाले की मिर्ची भी बिक जाती है।
👉7) जीवन मे सबसे बङी खुशी उस काम को करने मे है जिसे लोग कहते है कि तुम नही कर सकते हो।
  👉8) इसांन एक दुकान है और जुबान उसका ताला। ताला खुलता है, तभी मालूम होता है कि
दुकान सोने की है या कोयले की।

👉9) कामयाब होने के लिए जिन्दगी मे कुछ ऐसा काम करो कि लोग आपका नाम Face book पे नही Google पे सर्च करे।
👉10) दुनिया विरोध करे तुम ङरो मत क्योकि जिस पेङ पर फल लगते है दुनिया उसे ही पत्थर मारती है।
 👉11) जीत और हार आपकी सोच पर ही निर्भर है मान लो तो हार होगी और ठान लो तो जीत होगी। 👉12) दुनिया की सबसे सस्ती चीज है सलाह एक से मांगो हजारो से मिलती है सहयोग हजारो से मांगो एक से मिलता है।
👉13) मैने धन से कहा कि तुम एक कागज के टुकङे हो धन मुस्कराया और बोला बिल्कुल मै एक कागज का टुकङा हूॅ लेकिन मैने आज तक जिन्दगी मे कूङेदान का मुहॅ नही देखा।
👉14) आंधियो ने लाख बढाया हौसला धूल का, दो बूंद बारिश ने औकात बता दी!
👉15) जब एक रोटी के चार टुकङे हो और खाने वाले पांच हो तब मुझे भूख नही है ऐसा कहने वाला कौन है "माॅ"
 👉16) जब लोग आपकी नकल करने लगे तो समझ लेना चाहिए कि आप जीवन मे सफल हो रहे है। 👉17) मत फेंक पत्थर पानी मे उसे भी कोई पीता है। मत रहो यू उदास जिन्दगी मे तुम्हे देखकर भी कोई जीता है।

और अंत में



झांक रहे सब सबके आँगन,अपने आँगन झाँके कौन?
ढूँढ रहे दुनियाँ में खामी,अपने मन में झाँके कौन?
सबके भीतर चोर छुपा है,उसको अब ललकारे कौन?
दुनियाँ सुधरे सब चिल्लाते,खुद को आज सुधारे कौन?
पर उपदेश कुशल बहुतेरे,खुद पर आज बिचारे कौन?
हम सुधरें तो जग सुधरेगा,इस मुद्दे पर सब हैं मौन?

अध्यापक

 किसी ने साधारण से दिखने वाले शिक्षक से पूछा -क्या करते हो आप ? शिक्षक का सुन्दर जवाब देखिए-



 



सुन्दर सुर सजाने को साज़ बनाता हूँ ।
नौसिखिये परिंदों को बाज़ बनाता हूँ ।।

चुपचाप सुनता हूँ शिकायतें सबकी ।
तब दुनिया बदलने की आवाज़ बनाता हूँ।

समंदर तो परखता है हौंसले कश्तियों के ।
 मैं डूबती कश्तियों को जहाज़ बनाता हूँ ।।

बनाए चाहे चांद पे कोई बुर्ज-ए- ख़लीफ़ा ।
अरे मैं तो कच्ची ईंटों से ही ताज बनाता हूँ ।।